20 नवंबर 2022 :’ऑडिट दिवस’ भारतीय लेखापरीक्षा एवं लेखा विभाग, जिसके अध्यक्ष भारत के नियंत्रक-महालेखापरीक्षक हैं, के द्वारा प्रत्येक वर्ष 16 नवंबर को मनाया जाता है। भारत के प्रथम महालेखापरीक्षक की 16 नवंबर 1860 की नियुक्ति की स्मृति में यह दिवस मनाया जाता है।
द्वितीय ऑडिट दिवस 16 नवंबर 2022 को भारत के माननीय उपराष्ट्रपति श्री जगदीप धनखड़ की गरिमामयी उपस्थिति में भारत के नियंत्रक – महालेखापरीक्षक के कार्यालय, नई दिल्ली में मनाया गया। इसी क्रम में भारतीय लेखापरीक्षा एवं लेखा विभाग, हिमाचल प्रदेश के तीनों कार्यालयों; राष्ट्रीय लेखापरीक्षा एवं लेखा अकादमी, प्रधान महालेखाकार, हिमाचल प्रदेश (लेखापरीक्षा) एवं प्रधान महालेखाकार, हिमाचल प्रदेश (लेखा एवं हकदारी) शिमला में 21 नवंबर से 27 नवंबर 2022 तक ऑडिट सप्ताह मनाया जा रहा है। इस ऑडिट सप्ताह 2022 में विभिन्न कार्यक्रम जैसे राज्य सरकार के अधिकारियों के साथ परिचर्चा, रक्तदान शिविर, सांस्कृतिक कार्यक्रम, प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता तथा ‘अभिव्यक्ति’-एक फोटो प्रदर्शनी का आयोजन किया जा रहा है।
ये तीनों कार्यालय अपने अधिदेशानुसार कार्य करते हैं-
राष्ट्रीय लेखापरीक्षा एवं लेखा अकादमी, शिमला:
शिमला के चौड़ा मैदान में स्थित राष्ट्रीय लेखापरीक्षा और लेखा अकादमी जिसे नगरवासी यारोज़ के नाम से भी जानते हैं, भारत के नियंत्रक एंव महालेखापरीक्षक के तत्वावधान में एक प्रमुख प्रशिक्षण संस्थान है। अकादमी संघ लोक सेवा आयोग )यूपीएससी(द्वारा आयोजित सिविल सेवा परीक्षा के माध्यम से हर साल भर्ती हुए आई.ए,ए.एस प्रशिक्षु अधिकारियों ) परिवीक्षाधीन (के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित करती है। लगभग दो वर्ष के गहन व्यावसायिक प्रशिक्षण के उपरांत प्रशिक्षु अधिकारियों को भारत के नियंत्रक एंव महालेखापरीक्षक के वैधानिक जनादेश की पूर्ति हेतु प्रत्येक राज्य में स्थापित महालेखाकार)लेखापरीक्षा ( और महालेखाकार)लेखा व हकदारी( कार्यालयों में तैनात किया जाता है। इसके अतिरिक्त अकादमी प्रति वर्ष सेवाकालीन आई.ए.ए.एस अधिकारियों तथा भारत सरकार के अन्य विभागों के सेवाकालीन अधिकारियों व अन्य केन्द्रीय सिविल सेवाओं के प्रशिक्षु अधिकारियों के प्रशिक्षण कार्यक्रमों का आयोजन भी करती है।
वर्तमान में अकादमी द्वारा प्रशिक्षित लगभग 565 अधिकारी देश-विदेश में स्थित भारत के नियंत्रक एंव महालेखापरीक्षा के कार्यालयों में अपनी सेवाएँ प्रदान कर रहें हैं। अकादमी Public accounts and audit के प्रशिक्षण प्रणाली में नवीनता एंव उत्कृष्टता के लिए विश्व स्तर पर जानी जाती है। अकादमी इस लक्ष्य के साथ अपने कार्य करती है कि भावी अधिकारियों का व्यक्तिगत विकास हो तथा वे नैतिक तथा व्यावसायिक स्तर में सर्वोच्च वृद्धि कर सके। पूर्णतः संरचित) well-structured ) तथा समग्र प्रशिक्षण पाठ्यक्रम के माध्यम से ऐसे निपुण अधिकारियों को तैयार किया जाता है जो सार्वजनिक प्रशासन, लेखापरीक्षा, लेखा तथा सुशासन के क्षेत्र में वर्तमान समय के अनुसार बेहतरीन तरीके से कार्य कर सकें। अकादमी प्रशिक्षु अधिकारी में सेवा के लिए गर्व की भावना को आत्मसात करने मे सफल भूमिका निभाती आई है। भारत के नियंत्रक तथा महालेखापरीक्षक द्वारा देश की राजनैतिक व्यवस्था में निभाई जाने वाली जीवंत भूमिका की जड़ें इसी अकादमी की भूमि में विस्तृत हैं। लेखा परीक्षा /लेखा प्रक्रिया को अधिक कुशल बनाने के दृष्टिकोण से लेखा परीक्षा, लेखा तथा सुशासन के क्षेत्र में अनुसंधान को प्रोत्साहन देना तथा इसे कार्यान्वित करना भी अकादमी का लक्ष्य रहता है।
कार्यालय प्रधान महालेखाकार, (लेखापरीक्षा)हिमाचल प्रदेश शिमला
यह कार्यालय हिमाचल प्रदेश सरकार के स्थानीय निकायों सहित 48 विभागों, सार्वजनिक क्षेत्र के 29 उपक्रमों, 53 स्वायत्त निकायों एवं बाह्य सहायता प्राप्त परियोजनाओं की लेखापरीक्षा करता है। राज्य सरकार के कार्यालयों का लेखापरीक्षा के लिए चयन प्राप्ति व व्यय, सामाजिक रूप से महत्वपूर्ण विभागों एवं संवेदनशील मुद्दों आदि जैसे मानकों का उपयोग करके जोखिम मूल्यांकन के आधार पर किया जाता है।
यह कार्यालय अनुमोदित लेखापरीक्षा योजना के अनुसार अनुपालन, वित्तीय एवं निष्पादन लेखापरीक्षा करता है। लेखापरीक्षा के निष्कर्षों को लेखापरीक्षा प्रतिवेदन (राज्य वित्त लेखापरीक्षा प्रतिवेदन, अनुपालन प्रतिवेदन एवं स्टैंडअलोन प्रतिवेदन) में चित्रित किया जाता है तथा भारत के संविधान के अनुच्छेद 151 के तहत हिमाचल प्रदेश की विधानसभा के समक्ष प्रस्तुत करने के लिए राज्य के राज्यपाल को प्रस्तुत किया जाता है। विगत 5 वर्षों के दौरान, हिमाचल प्रदेश की विधानसभा में 23 लेखापरीक्षा प्रतिवेदन रखे गए हैं।
लेखापरीक्षा प्रतिवेदनों के निष्कर्षों पर विधायिका के निर्वाचित सदस्यों से मिलकर बनी माननीय लोक लेखा समिति/ सार्वजनिक उपक्रमों की समिति द्वारा इस कार्यालय की सहायता से विधानसभा में चर्चा की जाती है।
कार्यालय प्रधान महालेखाकार (लेखा व हकदारी), हिमाचल प्रदेश, शिमला
यह कार्यालय दो प्रकार के कार्यों का निष्पादन करता है। लेखांकन कार्य के अंतर्गत यह कार्यालय हिमाचल प्रदेश सरकार के मासिक सिविल लेखे तैयार करता है एवं हर माह राज्य सरकार को प्रस्तुत करता है। वित्तीय वर्ष के अंत में कार्यालय राज्य सरकार के वार्षिक लेखे बनाता है जिसमें (i) वित्त लेखे एवं (ii) विनियोजन लेखे शामिल हैं। वित्त लेखे वर्ष में सरकार की प्राप्तियों एवं संवितरण के विवरण सहित राज्य की वित्तीय स्थिति प्रस्तुत करते हैं। विनियोजन लेखे राज्य विधायिका द्वारा वर्ष में अधिकृत बजट के सापेक्ष वयय की गई राशि को प्रस्तुत करते हैं। वार्षिक लेखे राज्य विधायिका के समक्ष प्रस्तुत किए जाते हैं। लेखांकन कार्यों के अतिरिक्त कार्यालय दो हकदारी कार्य अर्थात (i) पेंशन प्राधिकरण एवं (ii) राज्य सरकार कर्मियों के सामान्य भविष्य निधि (जीपीएफ) खातों का अनुरक्षण भी करता है। कार्यालय राज्य सरकार के सेवानिवृत्त कर्मियों के पेंशन भुगतान आदेश जारी करता है। इसके पश्चात् राज्य सरकार द्वारा पेंशनभोगियों की पेंशन संशोधित होने पर यह कार्यालय पेंशन में संशोधन भी करता है। जहां तक सामान्य भविष्य निधि से सम्बंधित कार्यों का सम्बन्ध है, कार्यालय राज्य सरकार के कर्मचारियों, जो सामान्य भविष्य निधि के सबस्क्राइबर्स हैं, के सामान्य भविष्य निधि खातों का अनुरक्षण करता है। सरकारी कर्मचारी (सामान्य भविष्य निधि सबस्क्राइबर्स) के सेवानिवृत्त होने पर उनके कार्यालयाध्यक्ष इस कार्यालय को सामान्य भविष्य निधि के अंतिम भुगतान मामले प्रेषित करतें हैं। सामान्य भविष्य निधि सब्स्क्राइबर के खाते कार्यालय द्वारा नए सिरे से सत्यापित किए जाते हैं, जिसके पश्चात् कार्यालय द्वारा अंतिम भुगतान प्राधिकरण पत्र जारी किए जाते हैं।